REPORT TIMES: बिहार पुलिस की एसटीएफ ने एक साल से फरार चल रहे नीट पेपर लीक कांड के सरगना संजीव मुखिया को दबोच लिया है. इस शातिर बदमाश की गिरफ्तारी गुरुवार की देर रात पटना से हुई. बिहार पुलिस ने इस बदमाश के सिर पर 3 लाख रुपये का इनाम घोषित किया था. संजीव मुखिया से पहले उसके गिरोह के 36 लोगों को अरेस्ट किया गया था. इनमें मुखिया का बेटा भी शामिल है.
बिहार एसटीएफ के अधिकारियों के मुताबिक एक साल से इस शातिर बदमाश की तलाश हो रही थी. यह कई बार पुलिस के हत्थे भी चढ़ा, लेकिन ऐन वक्त पर गच्चा देकर निकलने में सफल हो गया. फिलहाल बिहार एसटीएफ और ईओयूकी टीम गैंग के सरगना संजीव से पूछताछ कर रही है. बताया जा रहा है कि इस वारदात में कई सफेदपोश लोगों के नाम भी सामने आ सकते हैं.
मई 2024 में हुई थी परीक्षा
बता दें कि पिछले साल देश भर में मेडिकल कॉलेजों के लिए एंट्रेंस परीक्षाएं 5 मई 2024 को हुई थी. इस परीक्षा से पहले संजीव मुखिया और इसके गिरोह के लोगों ने नीट पीजी का पेपर आउट कर दिया था. मामले का खुलासा उस समय हुआ, जब पटना के एक निजी स्कूल में परीक्षा के एक दिन पहले दबिश हुई. वहां एक सॉल्वर परीक्षार्थियों को क्वेश्चन एवं आंसर रटवाते हुए पकड़ा गया था. इसी प्रकार अन्य राज्यों में भी इस तरह के मामले सामने आए थे.
सरकारी नौकरी छोड़ कर राजनीति में आया था मुखिया
इसके बाद मामले की जांच ईओयू ने शुरू की और फिर कई सॉल्वर और बिचौलियों को अलग अलग स्थान से पकड़ा गया. इनमें संजीव मुखिया का बेटा भी शामिल था. हालांकि संजीव उस समय भागने में सफल रहा था. बाद में मामले की जांच सीबीआई को सौंप दी गई. बिहार एसटीएफ के मुताबिक संजीव मुखिया के बारे में पुख्ता सूचना मिली थी कि उसने एक प्रोफेसर के जरिए पेपर आउट कराया और छात्रों से 40-40 लाख रूप में डील किया था. मूलरूप से नालंदा के नगरनौसा निवासी संजीव मुखिया एक नाम लूटन मुखिया भी है. पहले यह नूरसराय हॉर्टिकल्चर कॉलेज में तकनीकी सहायक था. बाद में नौकरी छोड़ कर यह राजनीति में आ गया था.
पहली बार सिपाही भर्ती केस में आया था नाम
संजीव मुखिया लंबे समय पेपर लीक कांड में शामिल रहा है. पहली बार उसका नाम साल 2016 में हुए सिपाही भर्ती परीक्षा केस में आया. इस परीक्षा में भी संजीव मुखिया ने पेपर लीक किया था. इसके बाद BPSC पेपर लीक केस में भी इसका नाम आया. बताया जा रहा है कि संजीव की पत्नी लोजपा के टिकट पर बिहार विधानसभा में हरनौत सीट से चुनाव भी लड़ चकी है. वहीं उसका बेटा एक डॉक्टर है और वह भी इस कांड में संजीव का साझीदार है.