भारतीय टेस्ट टीम को न्यूज़ीलैंड के हाथों अपने ही मैदान पर लगातार तीन टेस्ट में हार का सामना करना पड़ा है. इस करारी हार के बाद टीम इंडिया को ऑस्ट्रेलिया जैसी मज़बूत टीम का सामना, उनके ही मैदानों पर करने जा रही है. सिरीज़ का पहला मुक़ाबला 22 नवंबर से पर्थ की तेज़ पिच पर होना है. पहले टेस्ट में रोहित शर्मा घरेलू वजह से हिस्सा नहीं ले पाएंगे और टीम की कमान जसप्रीत बुमराह को संभालनी होगी. इस मुश्किल दौरे के लिए टीम की घोषणा के वक्त से ही भारतीय टीम की चुनौतियों को लेकर चर्चा हो रही है.
तब भारतीय टीम पहले टेस्ट में हार के बाद दूसरे टेस्ट की पहली पारी में 156 रनों पर सिमट गई थी. इन सबका असर ऐसा था कि दुनिया को इस टीम के बारे में रात के दस बजे ईमेल के ज़रिए पता चला था. पहली पारी में भारत की फ्लॉप बल्लेबाज़ी के साथ ही आशंका जताई जाने लगी थी कि घरेलू मैदान पर लगातार 18 टेस्ट सिरीज़ जीतने के बाद भारतीय टीम हार के कगार पर है. ये आशंका पुणे टेस्ट के बाद हक़ीक़त में तब्दील हुई और मुंबई में तीसरे मैच में हार के बाद टीम की साख पर भी बट्टा लगा.
सिरीज़ के शुरू होने से पहले टीम इंडिया के खिलाड़ियों के घायल होने की ख़बरें भी आ रही हैं. लेकिन, टीम चयन के वक्त से ही इस पूरी टीम को लेकर लगातार सवाल उठ रहे हैं. लेकर लगातार ये सवाल उठाया जा रहा है कि भारतीय बल्लेबाज़ी कमजोर दिख रही है. कुछ सालों में भारतीय क्रिकेट में नई प्रतिभाएं सामने आती रही हैं और इसको लेकर गर्व का भाव भी दिखा है. एक दौर ऐसा भी आया जब दावा किया जाने लगा कि हर फॉर्मेट की टीम में एक-एक जगह के तीन-तीन दावेदारों में होड़ है