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वन मण्डल अधीन वन क्षेत्रों एवं कंजर्वेशन रिजर्व क्षेत्रों में साझा वन प्रबन्ध (जेएफएम) वन एवं वन्यजीवों के प्रबंधन और घायल वन्यजीवों के रेस्क्यू इलाज के संबंध में जिला परिषद सभागार में एक कार्यशाला हुई। झुंझुनूं के वन्य कर्मियों को वन्यजीवों के प्रबंधन और रेस्क्यू के संबंध में जानकारी दी गई।
उपवन संरक्षक आर.के. हुड्डा ने बताया कि कार्यशाला में जयपुर वन्यजीव चिड़ियाघर के वरिष्ट पशु चिकित्सक डॉ. अरविन्द माथुर एवं उनकी टीम द्वारा घायल वन्यजीवों के रेस्क्यू ईलाज के संबंध में पर प्रेजेंटेशन के माध्यम से प्रशिक्षण दिया गया। बीड़ झुंझुनूं कंजर्वेशन रिजर्व क्षेत्र के आस-पास के गांवों, झुंझुनूं शहर में पदस्थापित पशुचिकित्सक व उनके अधीनस्थ स्टॉफ ने प्रशिक्षण में भाग लिया।
बीड़ कंजर्वेशन रिजर्व में रिलोकेट किए गए काले हिरणों के स्वास्थ्य उपचार व देखभाल एवं उनके लिए आवश्यक दवाइयों के बारे में भी प्रशिक्षण दिया गया। इस दौरान वरिष्ठ पशुचिकित्सक अधिकारी डॉ. संजय शर्मा, डॉ. बंशीधर, डॉ. प्रियंका, क्षेत्रीय अधिकारी नवलगढ़, उदयपुरवाटी, झुंझुनूं, खेतड़ी सहित विभागीय अधिकारी एवं कार्मिक उपस्थित रहे।
वन मण्डल अधीन वन क्षेत्रों एवं कंजर्वेशन रिजर्व क्षेत्रों में साझा वन प्रबन्ध (जेएफएम) वन एवं वन्यजीवों के प्रबंधन और घायल वन्यजीवों के रेस्क्यू इलाज के संबंध में जिला परिषद सभागार में एक कार्यशाला हुई। झुंझुनूं के वन्य कर्मियों को वन्यजीवों के प्रबंधन और रेस्क्यू के संबंध में जानकारी दी गई।
उपवन संरक्षक आर.के. हुड्डा ने बताया कि कार्यशाला में जयपुर वन्यजीव चिड़ियाघर के वरिष्ट पशु चिकित्सक डॉ. अरविन्द माथुर एवं उनकी टीम द्वारा घायल वन्यजीवों के रेस्क्यू ईलाज के संबंध में पर प्रेजेंटेशन के माध्यम से प्रशिक्षण दिया गया। बीड़ झुंझुनूं कंजर्वेशन रिजर्व क्षेत्र के आस-पास के गांवों, झुंझुनूं शहर में पदस्थापित पशुचिकित्सक व उनके अधीनस्थ स्टॉफ ने प्रशिक्षण में भाग लिया।
बीड़ कंजर्वेशन रिजर्व में रिलोकेट किए गए काले हिरणों के स्वास्थ्य उपचार व देखभाल एवं उनके लिए आवश्यक दवाइयों के बारे में भी प्रशिक्षण दिया गया। इस दौरान वरिष्ठ पशुचिकित्सक अधिकारी डॉ. संजय शर्मा, डॉ. बंशीधर, डॉ. प्रियंका, क्षेत्रीय अधिकारी नवलगढ़, उदयपुरवाटी, झुंझुनूं, खेतड़ी सहित विभागीय अधिकारी एवं कार्मिक उपस्थित रहे।