शिवनगरी के शिवालयों की श्रृंखला में आज हम पहुंचे हैं मंड्रेला रोड पर श्योपुरा के पास बने प्राचीन भगवानदास के जोहड़े के पास बने हनुमान मंदिर में यहां सन्त रामदास जी फिलहाल मन्दिर की देखरेख कर रहे हैं।
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https://youtu.be/4yRoQ354QJM
प्राप्त जानकारी के अनुसार यहां सैकड़ों साल पहले जोहड़ के पास कुएं का निर्माण किया गया। यहां सन्त नत्थू दास कुटिया बनाकर रहने लगे। उसी समय यहां पर बालाजी महाराज की मूर्ति विराजित कराई गई। परिसर में प्रवेश करते ही सामने हॉल में बने गर्भगृह में विराजे हैं हनुमान जी महाराज। हनुमान जी की बड़ी ही आकर्षक मूर्ति यहां आने वाले भक्तों का मन मोह लेती है। हॉल से बाहर निकलते ही बाई तरफ बना है शिवालय। करीब साढ़े 6 साल पहले सन्त रामदास के सानिध्य में श्रद्धालुओं के सहयोग से इस शिवालय का निर्माण कराया गया। शिवालय में शिव परिवार और नन्दी महाराज के साथ ही बावलिया बाबा भी यहां विराजे हैं। यहां कच्छप रूप में श्री हरि भी यहां विराजे हुए हैं। परिसर में शिवालय के सामने की तरफ बनी है यज्ञ शाला। यहां पर सन्त रामदास तप किया करते हैं। वहीं मन्दिर के पीछे की तरफ सन्त नत्थुदास बाबा की कुटिया का स्थान है। यहां पर धूणा बनाया हुआ है। सन्त की एक तस्वीर भी यहां लगी है। जोहड़ को भी अब पक्का करा दिया गया है। पक्षियों की मधुर कलरव यहां काफी मन मोहती है। इसी के सहारे बनी है गौ नन्दी शाला। सन्त रामदास जब से यहां आए हैं पर्यावरण के प्रति उनका लगाव यहां निरन्तर नजर आ रहा है। उन्होंने यहां काफी पेड़-पौधे भी लगाए हैं और उनकी देखभाल वे अपने परिवार के सदस्यों की तरह करते हैं। आस्था की इस दर पर श्रद्धालुओं ने सन्त के सानिध्य में काफी कार्य करवाए और आज ये स्थान काफी रमणीय हो गया है।